Narak Chaturdashi 2024: छोटी दिवाली पर करें ये 5 उपाय, अकाल मृत्यु और नरक यातना से मिलेगा छुटकारा!

Photo Source :

Posted On:Wednesday, October 30, 2024

पांच दिवसीय दीपोत्सव 2024 का आज दूसरा दिन है. इसे छोटी दिवाली, नरक चतुर्दशी, रूप चौदस और यम चौदस भी कहा जाता है। आज कालिका माता, यमराज और भगवान श्रीकृष्ण की पूजा की जाती है। ऐसा माना जाता है कि दोनों देवताओं की पूजा करने से अकाल मृत्यु टल जाती है, पाप नष्ट हो जाते हैं और यमलोक में नरक की पीड़ा से मुक्ति मिल जाती है। आइए जानते हैं नरक चतुर्दशी के अवसर पर छोटी दिवाली क्यों मनाते हैं और मृत्यु और नरक जैसे सभी प्रकार के भय से छुटकारा पाने के लिए आज आप क्या विशेष उपाय करते हैं?

छोटी दिवाली क्यों मनाई जाती है?
हिंदू धर्म में छोटी दिवाली कार्तिक मास के कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी तिथि को मनाई जाती है। पौराणिक कथाओं के अनुसार, इस दिन भगवान कृष्ण ने घातक राक्षस नरकासुर का वध किया था। नरकासुर ने अपने अत्याचारों से तीनों लोकों में आतंक मचा रखा था। देवता, यक्ष, किन्नर, गंधर्व, मनुष्य सभी पीड़ित थे।

ऐसा कहा जाता है कि नरकासुर ने स्वर्ग पर आक्रमण किया, देवताओं पर कब्जा कर लिया और पृथ्वी पर सैकड़ों राजाओं की बेटियों और पत्नियों का अपहरण कर लिया। तब भगवान श्रीकृष्ण ने कार्तिक मास के कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी को नरकासुर का वध किया और तीनों लोगों को उसके आतंक से मुक्ति दिलाई। नरकासुर द्वारा बंदी बनाए गए सभी देवताओं सहित लगभग 16,000 महिलाओं को मुक्त कराया गया।

ऐसा कहा जाता है कि नरकासुर का वध करके और हजारों लोगों को उसकी कैद से मुक्त कराने के बाद जब भगवान द्वारिका लौटे, तो लोगों ने दीपक जलाकर उनका स्वागत किया और खुशी व्यक्त की। माना जाता है कि तभी से छोटी दिवाली मनाई जाती है।

छोटी दिवाली पर करें ये उपाय
1- छोटी दिवाली के दिन यमराज की पूजा की जाती है. यम देव की पूजा से अकाल मृत्यु का भय भी दूर हो जाता है।

2- आज भगवान श्रीकृष्ण और मां कालिका की पूजा अवश्य करें, इससे जीवन से सभी प्रकार की नकारात्मकता दूर हो जाती है।

3- इस दिन तेल मालिश करके स्नान करने से मृत्यु का भय दूर होता है और स्वास्थ्य अच्छा रहता है।

4- इस दिन हनुमान जी की विशेष पूजा करने से व्यक्ति का बल बढ़ता है और जीवन में खुशहाली आती है।

5- छोटी दिवाली पर 14 दीपक जलाने की परंपरा सदियों से चली आ रही है. इसलिए आज घर के अंदर और बाहर अलग-अलग जगहों पर 14 दीपक जलाने चाहिए। पहला दीपक भगवान यमराज को समर्पित किया जाता है और घर के बाहर दक्षिण दिशा में जलाया जाता है।


जमशेदपुर और देश, दुनियाँ की ताजा ख़बरे हमारे Facebook पर पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें,
और Telegram चैनल पर पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें



You may also like !

मेरा गाँव मेरा देश

अगर आप एक जागृत नागरिक है और अपने आसपास की घटनाओं या अपने क्षेत्र की समस्याओं को हमारे साथ साझा कर अपने गाँव, शहर और देश को और बेहतर बनाना चाहते हैं तो जुड़िए हमसे अपनी रिपोर्ट के जरिए. jamshedpurvocalsteam@gmail.com

Follow us on

Copyright © 2021  |  All Rights Reserved.

Powered By Newsify Network Pvt. Ltd.